सुल्तानपुर, पितृ पक्ष में पिता के त्याग एवं तपस्या को नमन।पं माधुरी मिश्रा जिला अध्यक्ष सुल्तानपुर अखिल ब्राह्मण विकास प्रतिष्ठान – भारत संगठन व प्रभारी जिला कार्यालय सुल्तानपुर भाजपा महिला मोर्चा मेरे पिता स्वर्गीय पं बबऊ उपाध्याय महान विद्वान थे जिन्हें संस्कृत का उच्च ज्ञान प्राप्त था साथ ही साथ वे पुलिस विभाग में उच्च पद पर आसीन थे उन्होंने अपने जीवन काल में बहुत से परोपकारी कार्य किए जिन्हें मैं वर्णन भी नहीं कर सकती हूँ उनका हृदय बहुत ही मार्मिक था वह बाहर से जितना कठोर उग्र स्वभाव के थे अंदर से वह बिल्कुल मोम की तरह थे। मेरे पिता कहते थे कि समाज में सम्मान व स्वाभिमान से बढ़कर कुछ भी नहीं है अपने पिता के आदर्शों एवं सिद्धांतों से बहुत प्रेरित हूँ आज पितृपक्ष के दशमी तिथि है और इस दिन आपके बारे में सोचकर आंखें नम हो जाती हैं लोग कहते हैं इस समय पितर अपने परिवार को देखने आते हैं मुझे नहीं पता यह सच है या नहीं पर दिल मानता है कि आप आज भी मेरे आस-पास ही होंगे आपकी कमी हर दिन महसूस होती है इस पितृ पक्ष में कुछ ज्यादा भावुक हो रही हूं जब भी मैं कोई मुश्किल में आती हूं तो सबसे पहले आपकी याद आती है मैं सोचती हूं कि आप होते तो क्या करते हैं आपकी आवाज मेरे कानों में गूंजती है घबराओ नहीं मैं हूं ना पिताजी आज आपको गुजरे 8 वर्ष हो गए परंतु आपने जो एक भव्य शिव मंदिर का निर्माण किया जिसे सिद्धेश्वर महादेव के नाम से प्रसिद्ध है जो ग्राम गोकुला जिला जौनपुर में है जिसकी ख्याति दूर-दूर तक फैली है जिसके कारण आज समाज में आपकी प्रसिद्ध चारों तरफ फैल रही है आपकी इस परोपकारी धार्मिक कार्य की वजह से हम सभी को भी आशीर्वाद मिल रहा है हमें गर्व है कि हम आपकी संतान है मैं अपने पिता के आदर्श एवं सिद्धांतों से बहुत प्रेरित हूं मैं अपने पूरे परिवार के साथ और अपने बड़े भाई एडवोकेट प्रशांत उपाध्याय छोटी बहन संगीता उपाध्याय और मेरा छोटा भाई शशांक उपाध्याय की तरफ से उन्हें श्रद्धा सुमन अर्पित करती हूं और यही कामना करती हूं कि आपका आशीर्वाद हमेशा हम लोगों के साथ रहेगा ।

