मुंबई। पूज्य गुरुदेवश्री राकेशजी की निश्रा में, श्रीमद् राजचंद्र मिशन धरमपुर द्वारा पर्यूषण पर्व का धर्मोल्लासभरा उत्सव मनाया जा रहा है, जिसमें देश-विदेश से हजारों श्रद्धालु शामिल हुए हैं । विश्वभरमें हर एक जीव को शाश्वत शांति और अनंत सुख की प्राप्ति हो इस हेतु श्रीमद् राजचंद्र मिशन धरमपुर द्वारा विश्व की सात भाषाओं में कार्यरत यूट्यूब चैनलों पर पूज्य गुरुदेवश्री राकेशजी के डब किए गए सत्संग-ध्यान आदि दिखाए जाते हैं। यह चैनल 191 देशों में देखे जाते हैं और इनके लाखों सब्सक्राइबर्स हैं। इन चैनलों पर आ रही प्रतिक्रियाएँ इस बात का प्रमाण हैं कि इस सत्संग से अनेकों हृदय परिवर्तित हो रहे हैं।
पर्यूषण महापर्व २०२३ के मंगल अवसर पर श्रीमद् राजचंद्र मिशन धरमपुर ने साधकों को एक ऐसा उपहार दिया है जो आध्यात्मिक जगत में ऐतिहासिक परिवर्तन लाएगा। यह है – पूज्य गुरुदेवश्री राकेशजी के सत्संग AI का उपयोग करके अंग्रेजी, हिंदी, फ्रेंच, स्पेनिश, मैंडरिन, रूसी, जर्मन और पोर्तुगीस इन आठ भाषाओं में उनकी अपनी दिव्य आवाज में प्रस्तुति !
टेक्नोलॉजी का यह नूतन उपयोग अद्यात्मिक्ता को प्रोत्साहन देगा और पूज्य गुरुदेवश्री के शांति और पवित्रता फैलाने के दृष्टिकोण को आगे बढ़ाने में एक क्रांतिकारी कदम साबित होगा। यह पहल सुनिश्चित करेगा की उनका संदेश दुनिया के हर कोने में जिज्ञासु तक पहुंचे। साथ ही, इन भाषाओं में नए सोशल हैंडल भी शुरू किए गए हैं, इस तरह कुल 30 सोशल मीडिया पेजों के जरिए उनका संदेश दुनिया भर के कोने कोने में जिज्ञासुओं तक पहुंचेगा।
महाराष्ट्र के राज्यपाल रमेशजी बैस भी इस धार्मिक उत्सव में शामिल हुए और उन्होंने इस नये अभियान की सराहना की। राज्यपाल ने अपने वक्तव्य में कहा “ महाराष्ट्र संतों की भूमि है। मुझे यह जानकर अत्यधिक ख़ुशी हुई कि महान संत श्रीमद् राजचंद्र जी इसी मुंबई शहर में १९ वर्ष की उम्र से पधारें थे। वर्तमान में श्रीमद् राजचंद्रजी के ज्ञान धारा को जारी रखने के लिए पूज्य गुरुदेवश्री राकेशजी को मैं वंदन करता हूँ और श्रीमद् राजचंद्रजी द्वारा दिखाए गए मानवतावादी विचारों और पशु-कल्याण गतिविधियों के मार्ग पर चलने के लिए श्रीमद् राजचंद्र मिशन धरमपुर बधाई देता हूँ। पर्युषण के अवसर पर, पूज्य गुरुदेवश्री राकेशजी के सत्संग में आप सभी के साथ शामिल होकर मुझे अत्यंत हर्ष का अनुभव हो रहा है।“
इस अवसर पर अपनी भावना व्यक्त करते हुए, श्रीमद् राजचंद्र मिशन धरमपुर के उपाध्यक्ष, आत्मर्पित नेमीजी ने कहा, “आज प्रस्तुत तकनीक से पता चलता है कि आधुनिक सॉफ्टवेयर और एल्गोरिदम के साथ आर्टिफीसियल इंटेलिजेंस का अगर सकारात्मक तरीके से उपयोग की जाए तो वह विश्व में सुख-शांति ला सकती है। पूज्य गुरुदेवश्री की गहन आत्म-अनुभव से निकली वाणी उनके अपनी दिव्य आवाज में अब देश और भाषा की सीमाओं को पार कर दुनिया भर के जिज्ञासुओं के जीवन में परिवर्तन लाने में मदद करेगी। “
अधिक जानकारी के लिए: उत्पल मेहता 98200 66593, मिलोनी गांधी :

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