नई दिल्ली। अंतरराष्ट्रीय दिवस के अवसर पर मुख्य अतिथि, डॉ. एस.पी. मोहंती, हिंदुस्तान उर्वरक एवं रसायन लिमिटेड के प्रबंध निदेशक (भारत सरकार), ने नई दिल्ली में राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता डॉ. योगेश दुबे द्वारा दिव्यांगों के लिए निर्मित “दिव्यांग करियर पोर्टल” का उद्घाटन किया।
इस मौके पर डॉ. एस.पी. मोहंती ने कहा कि यह एक अद्वितीय परियोजना है जिसे एचयूआरएल ने समर्थन दिया है। डॉ. मोहंती ने दिव्यांगता पर व्यापक रूप से बातचीत की और कहा कि देश में एक परिवर्तन हो रहा है और अब दिव्यांग (PwDs) सभी क्षेत्रों में उच्च पदों को पा रहे हैं। डॉ. मोहंती ने इस दिव्यांग करियर पोर्टल को बनाने के लिए डॉ. योगेश दुबे को बधाई दी और कहा कि इस नवाचारी पोर्टल के साथ देश के दिव्यांग सशक्त होंगे और देश के दिव्यांग सशक्त होकर प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण के अनुसार आत्मनिर्भर होंगे।
भारतीय विकास संस्थान (बीवीएस) के अध्यक्ष डॉ. योगेश दुबे ने कहा कि यह हमारे देश के दिव्यांगों के लिए पहला अग्रणी पोर्टल है जो रिक्त सरकारी नौकरियों पर ध्यान केंद्रित करेगा। साथ ही यह पोर्टल दृष्टिबाधित लोगों को स्क्रीन रीडर जैसी सहायक तकनीकों का उपयोग करके वेबसाइट तक पहुंचने में सक्षम बनाता है।
यह पोर्टल पूरे भारत में सरकारी रिक्तियों के बारे में वास्तविक समय में जानकारी प्रदान करता है। यह प्लेटफ़ॉर्म उन विभिन्न नौकरियों के अपडेट की जांच करने के लिए एक अनुकूलित डैशबोर्ड भी प्रदान करता है जिनके लिए उन्होंने आवेदन किया है। नियोक्ता इस पोर्टल का उपयोग करके खाते भी बना सकते हैं, नौकरियां पोस्ट कर सकते हैं, प्रगति की निगरानी कर सकते हैं और एक कुशल दिव्यांग कार्यबल का चयन कर सकते हैं।
डॉ. दुबे ने कहा कि “हमारे देश के दिव्यांगों (पीडब्ल्यूडी) को सशक्त बनाने की दिशा में अपनी यात्रा के दौरान मैंने देखा है कि दिव्यांग खुद को आत्मनिर्भर बनाने के लिए बहुत उत्सुक हैं और सभी बाधाओं से लड़ने के लिए उनमें बहुत उत्साह भी है। जो दिव्यांग निजी संगठनों में काम कर रहे हैं वे भी विभिन्न अनिवार्य कारणों से अपनी नौकरी बनाए रखने में असमर्थ हैं। मुझे यह देखकर दुख हुआ कि हमारे दिव्यांग भाई बहन भारत सरकार और राज्य निकायों में समान अवसरों की मांग को लेकर सरकार के खिलाफ शांतिपूर्ण प्रदर्शन और विरोध प्रदर्शन कर रहे थे। इसलिए सभी रिक्त पदों का पता लगाने और दिव्यांगों को नियमों और विनियमों के अनुसार आवेदन करने की सलाह देने के लिए एक समर्पित मंच बनाने की आवश्यकता बढ़ गई है।”
डॉ. दुबे ने स्पष्ट किया कि यह पोर्टल पूरी तरह से दिव्यांगों को उस प्राधिकरण की निर्धारित शर्तों के अनुसार नौकरी के अवसरों के बारे में सूचित रखने के लिए है और बीवीएस दिव्यांगों को नौकरी प्रदान करने का दावा नहीं करता है।
डॉ. दुबे ने कहा कि बीवीएस उन चुनौतियों को समझता है, जिनका अक्सर नौकरी के इच्छुक दिव्यांगजनो को सामना करना पड़ता है – अचेतन पूर्वाग्रहों से लेकर शारीरिक बाधाओं तक। इसीलिए हमने अपने प्लेटफ़ॉर्म को सुलभ, उपयोगकर्ता-अनुकूल और सहायक बनाने के लिए डिज़ाइन किया है। इस मौके पर सरकार के विभिन्न प्रतिष्ठानों, सिविल सोसाइटीज़, विकलांगता के विशेषज्ञों और एनजीओ के विभिन्न प्रतिष्ठानों के प्रतिष्ठित प्रतिनिधि उपस्थित थे।

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